ऐसे मौके क्रिकेट के इतिहास में न के बराबर ही आते हैं। रणजी ट्रॉफी के लम्बे इतिहास में 38 साल बाद ऐसा हुआ। लाहिली में रणजी ट्रॉफी एलीट ग्रुप सी में यह प्रदर्शन भी अब इतिहास में दर्ज हो गया है, जिसमें एक गेंदबाज ने केरल की पूरी पारी को अकेले दम समेटते हुए सभी दस विकेट ले डाले।
लाहिली में मीडियम पेसर अंशुल कंबोज ने यह कारनामा किया
रणजी में यह कमाल करने वाला गेंदबाज है हरियाणा का 24 साल का मीडियम पेसर अंशुल कंबोज। लाहिली में खेलते हुए कंबोज ने यह कारनामा किया। रणजी ट्रॉफी में कंबोज ऐसा विराट प्रदर्शन करने वाले सिर्फ तीसरे गेंदबाज हैं। उनसे पहले दो अन्य गेंदबाज ही ऐसा कर पाए हैं, जबकि इंटरनेशनल क्रिकेट में भारत की तरफ से अनिल कुंबले ने भी ऐसा किया है। उन्होंने पाकिस्तान के खिलाफ 1999 में दिल्ली में हुए टेस्ट मैच की एक पारी में 74 रन देकर सभी 10 विकेट झटके थे।
पिछली बार 1985-86 यह कारनामा किया गया था
अंशुल कंबोज से पहले प्रेमंगसु मोहन चटर्जी और प्रदीप सुंदरम ने रणजी में यह कारनामा अंजाम दिया था। रणजी ट्रॉफी में आखिरी बार एक ही पारी में सभी 10 विकेट लेने का कारनामा 1985-86 के सीजन में किया गया था। पहली बार 1956-57 के सीजन में ऐसा देखने को मिला था, जब बंगाल के प्रेमंगसु मोहन चटर्जी ने 1956-57 असम के खिलाफ यह विलक्षण प्रदर्शन किया था। उन्होंने असम की पारी के सभी विकेट 20 रन देकर चटकाए थे। उसके 29 साल बाद राजस्थान के गेंदबाज प्रदीप सुंदरम ने 1985-86 में विदर्भ के खिलाफ 78 रन देकर सभी 10 विकेट ले सनसनी मचा दी थी।
कंबोज 19 फर्स्ट क्लास मैचों में 50 विकेट भी पूरे किए
कंबोज का इस साल लाल गेंद के साथ काफी बेहतरीन सीजन गुजर रहा है। उन्होंने केरल के खिलाफ 30.1 ओवर में केवल 49 रन ही दिए। अंशुल कंबोज का 10वां शिकार शॉन रोजर थे। कपिल हुड्डा ने एक बेहतरीन कैच लेकर उनके इस विकेट को पूरा करने में उनकी मदद की। इसी के साथ कंबोज ने अपने 19 फर्स्ट क्लास मैचों में 50 विकेट भी पूरे कर लिए हैं। कंबोज पिछले दिनों ओमान में हुए एसीसी इमर्जिंग एशिया कप टूर्नामेंट में भारत ए के लिए खेले थे। कंबोज का फरवरी 2022 में हरियाणा की तरफ से त्रिपुरा के खिलाफ अपना रणजी कॅरिअर शुरू किया था।